दिल्ली में हैवानियत का शिकार बच्चे की मौत, 13 दिन बाद हार गया जिदंगी की जंग
उत्तर पूर्वी दिल्ली में बीते दिनों जिस 10 साल के लड़के के साथ हैवानियत की गई थी, आखिरकार 13 के दिन के बाद वो मासूम जिंदगी की जंग हार गया। ये बच्चा दिल्ली के एलएनजेपी हॉस्पिटल में एडमिट था। बच्चे के साथ तीन नाबालिगों ने सामूहिक दुष्कर्म किया था और उसके प्राइवेट पार्ट में लोहे की रॉड डाल दी थी। इस घटना के बाद दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने पुलिस से जवाब भी मांगा था। साथ ही इस बच्चे के बारे में जानकारी साझा की थी।
घिनौने काम में चचेरा भाई भी शामिल
मिली जानकारी के मुताबिक, शनिवार सुबह बच्चे की इलाज के दौरान मौत हो गई। वारदात 18 सितंबर की है। खास बात यह है कि बच्चे के साथ दुष्कर्म करने वाले आरोपियों में एक चचेरा भाई भी था।
इस मामले में सीलमपुर थाने में केस दर्ज किया गया था। पुलिस ने तीन नाबालिग आरोपियों को पकड़ लिया है, जबकि एक आरोपी अब भी फरार चल रहा है।
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बच्चे की मां ने बताया कि, 18 सितंबर को उनके नाबालिग बेटे को उसके साथी खेलने के बहाने घर से लेकर गए थे। जब बेटा वापस आया तो वह रो रहा था और खून से लथपथ था। अपने साथ हुई हैवानियत को बेटे ने छिपा लिया और मां को बताया कि तीन लड़कों ने उसकी पिटाई की है।
तीन दिन तक बच्चे ने घर में नहीं बताई सच्चाई
मासूम ने अपने साथ हुई घिनौनी हरकत के बारे में तीन दिन तक घर में नहीं बताया। इसकी वजह थी शर्मिंदगी। मासूम 3 दिन तक अपने शरीर के दर्द और मानसिक दर्द को भी सहता रहा।
तीन दिन बाद यानी 21 सितंबर को जब बच्चे की तबीयत ज्यादा बिगड़ गई तो मां और घर वालों के काफी जोर देने के बाद बच्चे ने अपने साथ हुए दर्दनाक हादसे के बारे में सबकुछ बताया।
बेटे को दर्द में तड़पता देख तुरंत पुलिस को कॉल किया। पुलिस एलएनजेपी अस्पताल लेकर गई। जहां बच्चा 13 दिन तक आईसीयू में भर्ती रहा। लेकिन आखिरकार शनिवार 1 अक्टूबर को बच्चे ने दम तोड़ दिया।
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